window.dataLayer = window.dataLayer || []; function gtag(){dataLayer.push(arguments);} gtag('js', new Date()); gtag('config', 'G-YRJD2FN4QJ'); प्लास्टिक्स के क्षेत्र में भविष्य के विषय पर चर्चा: डॉ. आलोक साहू

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प्लास्टिक्स के क्षेत्र में भविष्य के विषय पर चर्चा: डॉ. आलोक साहू

 


रायपुर। मगंलवार को प्लास्टिक्स के क्षेत्र में भविष्य के विषय पर सिपेट से किया गया संवाद का आयोजन। रसायन एवं पेट्रोरसायन विभाग, रसायन पर भारत सरकार भनपुरी, रायपुर में संचालित सेंट्रल इंस्टिट्यूट ऑफ पेट्रोल में प्रेस वार्ता किया गया। प्लास्टिक्स के क्षेत्र में ज्वार भविष्य विषय पर संवाद का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में प्रदेश के प्रिंट मीडिया तथा इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के स्तर एवं मिडिया से जुड़े लोग शामिल हुए। सिपेट के निर्देशक एवं प्रमुख डॉ आलोक साहू ने अपने सम्बोधन में बताया गया कि प्लास्टिक्स वर्तमान में व्यक्ति के दैनिक जीवन में अहम भूमिका अदा कर रहा है। चिकित्सा उपकरण कृषि के उपकरण, ऑटोमोबाइल उद्योग इलेट्रॉनिक्स सेक्टर घरेलू उपयोग के उपकरण के उद्योग, निर्माण क्षेत्र आदि में प्लास्टिक का बहुतायत उपयोग हो रहा है। दिन प्रति दिन इसमें वृधि हो रही है, जिससे प्लास्टिक उद्योगों का तेजी से विकास हो रहा है साथ ही भविष्य में भी इस उद्योग में अपर सम्भावनाये है जिसके लिए कुशल मानव संसाधन की सतत आवश्यकता रहती है। उन्होनें आगे बताया कि सिपेट प्लास्टिक्स के क्षेत्र में अग्रणी संस्थान है तथा यहाँ की वर्कशॉप, प्रयोशाला आदि में प्लास्टिक उद्योगों के अनुरूप विश्वस्तरीय मशीनों की स्थापना की गयी है। जिससे छात्र को वास्तविक प्रशिक्षण प्राप्त होता है एवं प्लास्टिक उद्योग में उनका चयन प्राथमिकता के साथ होता है। सिपेट में संचालित होने वाली शैक्षणिक एवं तकनीकी गतिविधियों की जानकरी प्रेजेंटेशन के माध्यम से दी गयी। जिसमें बताया गया की कोई भी युवा जो दसवी पास है वो सिपेट के 03 वर्षीय डिप्लोमा पाठ्यक्रम डीपीटी एवं डीपीएमटी में तथा उपरांत 02 वर्षीय पीजी डिप्लोमा पीजीडीपीपीटी में प्रवेश लेकर अपना भविष्य बना सकता है। प्रेस वार्ता में चर्चा के दौरान बताया कि सिपेट के इन पाठ्यक्रमों में प्रवेश हेतु कोई उम्रसीमा न होने से ये वर्तमान में कार्यरत युवक-युवतियों हेतु तकनीकी ज्ञान की वृद्धि हेतु बेहतर विकल्प है। यहाँ तक की यदि युवा बारहवी उत्तीर्ण है तो वह डिप्लोमा के दवितीय वर्ष में सीधे प्रवेश ले सकता है। प्रेजेंटेशन में सिपेट में मौजूद हॉस्टल, कंटीन खेल सुविधानों की भी जानकारी दी गयी। रोजगार के प्रश्न पर जानकारी दी गयी की सिपेट से अध्यनरत सभी छात्रों को सिपेट के सहयोग से छत्तीसगढ़ राज्य में स्थित प्लास्टिक उद्योगों के साथ-साथ रिलायंस पेट्रोकेमिकल्स, फिनोलेक्स, सुप्रीम पेट्रोकेमिकल्स, जिंदल पॉलीफिल्म्स, आईएएबी ग्लोबल, फलस्कूल इंडिया प्रा.लि, जैसी राष्ट्रीय एवं बहुराष्ट्रीय उद्योगों में रोजगार के अवसर प्रदान कराये गए है। साथ ही यह चर्चा की गयी की छत्तीसगढ़ राज्य में युवा सिपेट की जानकारी के आभाव में प्रवेश नहीं ले पाते है और प्रदेश में विश्वस्तरीय एवं आधुनिक तकनीकी की मशीनों से युक्त इस संस्थान में शिक्षा एवं प्रशिक्षण प्राप्त करने से वंचित रह जाते है। कार्यक्रम के अंतिम चरण में पत्रकारों द्वारा सिपेट में संचालित डिप्लोमा एवं डिग्री मैं एडमिशन, पात्रता आदि से सम्बंधित पूछे गए सवाली का डॉ. आलोक साहू, निदेशक एवं प्रमुख द्वारा उत्तर दिया गया साथ ही यह भी अवगत कराया गया की वर्तमान 31 अगस्त तक सिपेट में छात्रों के पास सीधे प्रवेश पाने का अवसर है।